शिक्षकों को डांटते हुए कहा गेट आऊट फ्राम हीयर, बाहर आग लगा दो
शिक्षकों को डांटते हुए कहा गेट आऊट फ्राम हीयर, बाहर आग लगा दो
शिक्षकों को डांटते हुए कहा गेट आऊट फ्राम हीयर, बाहर आग लगा दो, पुलिस बुलाने की धमकी देते हुए टेबिल ग्लास तोड़ा
- एसडीएम को पत्र देकर शिक्षकों ने बीईओ पर लगाया अभद्रता का आरोप
- प्रतिमाह शिक्षकों का वेतन जमा कराने में अनावश्यक की जा रही देरी
नैनपुर. नैनपुर विकासखण्ड के शिक्षक नवनियुक्त बीईओ सुभाष चतुर्वेदी की कार्यप्रणाली से शिक्षक बहुत ज्यादा असंतुष्ट हैं। जब से बीईओ चतुर्वेदी ने कार्यभार ग्रहण किया है, तब से बीईओ कार्यालय की लापरवाही से प्रतिमाह शिक्षकों को वेतन जमा कराने में अनावश्यक देरी की जा रही है। जिससे प्रति माह शिक्षकों एवं कर्मचारियों की लोन की किस्तें बाउंस हो रही है और पेनाल्टी लग रही है। जिससे उनका बैंक सिविल स्कोर खराब हो रहा है। शिक्षक संगठन की ओर से समय पर वेतन भुगतान की मांग करने और अखबार में न्यूज आने पर बीईओ द्वारा शिक्षक संगठन के पदाधिकारियों पर बेवजह दबाव बने के लिए कर्मठ और जिला प्रशासन द्वारा सम्मानित शिक्षकों पर लापरवाही और अनियमितता का आरोप लगाते हुए स्पष्टीकरण दिया गया।

बताया गया कि शिक्षकों के प्रति उत्तर में संकुल प्राचार्य ने अपनी टिप्पणी पर शिक्षकों पर लगाए गए आरोपों को निराधार बताया। बदले की भावना से ग्रसित बीईओ ने जनसुनवाई की शिकायत पर संगठन की सदस्य शिक्षिका को बिना किसी जांच पड़ताल कराए सिर्फ शिकायत बेस पर शिक्षिका को 40 किमी दूर जंगली क्षेत्र में स्थानांतरित कर दिया, जहां आवागमन का कोई सार्वजनिक साधन उपलब्ध नहीं है। शिक्षिका द्वारा स्थान संशोधन के लिए आवेदन देने पर बीईओ कार्यालय में पदस्थ अन्वेषक बीएल पारधी ने उसे धमकाते हुए कहा कि जब मैं 150 किमी से अप-डाउन करके ड्यूटी कर सकता हूं, तो आप क्यों नहीं कर सकती। इस तरह उक्त शिक्षिका 40 किमी दूर अकेले आना जाना कर उस दुर्गम क्षेत्र में ड्यूटी करने मजबूर हैं, जबकि आस-पास के कई स्कूलों में शिक्षकों की कमी बनी हुई है।
सहायक आयुक्त के आदेश की अवहेलना
विगत दिनों जिला एवं संभागीय मुख्यालय द्वारा 12 और 24 वर्ष पूर्ण कर चुके शिक्षकों को प्रथम और द्वितीय ्रक्रमोन्नति का आदेश जारी किया गया, जिसमें से बीईओ कार्यालय द्वारा कुछ शिक्षकों का वेतनमान अनुमोदन करा दिया गया। शिक्षक संगठन द्वारा मांग करने पर सहायक आयुक्त ने पत्र लिखकर 17 फरवरी 25 तक सभी बीईओ से सभी क्रमोन्नति प्राप्त शिक्षकों के वेतनमान अनुमोदन और एरियर्स भुगतान करने का आदेश जारी किया गया। इसके बाद भी नैनपुर बीईओ द्वारा उक्त आदेश का पालन नहीं किया गया। उक्त पत्र का हवाला देते हुए एसोसिएशन के करीब 30 शिक्षकों ने 04 अप्रैल की शाम 04 बजे बीईओ को ज्ञापन सौंपा।

धरना प्रदर्शन की बात पर भड़क उठे नैनपुर बीईओ
ज्ञापन में 20 अप्रैल तक अनुमोदन ना कराने पर धरना प्रदर्शन की बात पढ़ते ही बीईओ सुभाषचंद्र चतुर्वेदी सभी शिक्षकों पर भड़क उठे। शिक्षकों का प्रतिनिधित्व करने वाले शिक्षकों को बाहर निकलने और पुलिस बुलाने की धमकी देने लगे। साथी शिक्षकों द्वारा आपत्ति उठाने और विरोध करने पर बीईओ ने सबको बुरी तरह डपटते हुए बाहर जाने और बाहर आग लगाने की बात कहते हुए अपनी टेबिल पर हाथ पटकते हुए स्वयं सबके सामने टेबिल ग्लास तोड़ दिया और पुलिस बुलाकर अंदर कराने की धमकी देने लगे। कमरे में उपस्थित अन्वेषक बीएल पारधी ने स्थानांतरित उक्त शिक्षिका को अपनी बात रखने पर सबके सामने बेंझड़ कहकर संबोधित किया। बेंझड़ शब्द का मतलब पूछने पर उन्हें बाहर जाने को कहा गया। इस तरह एक महिला शिक्षक का सबके सामने अपमान किया गया। इस घटना से अपमानित सभी शिक्षक बाहर निकलकर तत्काल आवेदन पत्र बनाकर एसडीएम आषुतोष ठाकुर से बीईओ के कृत्य की शिकायत की। शिक्षकों ने आशंका जताई कि भविष्य में अपने वेतन, अनुमोदन, एरियर्स आदि अन्य जानकारियों के लिए कार्यालय जा कर बात करने वाले शिक्षकों को झूठे आरोप में फंसाया जा सकता है। जिस पर एसडीएम ने शिक्षकों की मांग को जायज ठहराते हुए मामले की जांच कर तुरंत बीईओ को स्पष्टीकरण जारी करने और सहायक आयुक्त को प्रतिलिपि भेजने का आदेश दिया।
इनका कहना है
एक साथ 20 से 25 शिक्षकों का समूह मेरे कक्ष में प्रवेश कर मौखिक रूप से शिकवा शिकायत कर दबाव बनाने लगे, जिस पर मेरे द्वारा इनसे लिखित में शिकायत करने का बार बार आग्रह किया लेकिन इनके द्वारा मुझ पर दबाव बनाने का प्रयास किया, जिस पर मैंने इन्हें बाहर जाने और पुलिस बुलवाने को कहा गया।
सुभाष चंद्र चतुर्वेदी
बीइओ नैनपुर विकास खंड
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